ओमान के पास एक तेल टैंकर समुद्र में पलट गया है..बताया जा रहा है कि… इस पर 13 भारतीय और 3 श्रीलंकाई समेत कुल 16 क्रू मेंबर्स सवार थे… ओमान के समुद्री सुरक्षा केंद्र ने मंगलवार को इसकी जानकारी दी…
ओमान में तट पर तेल का टैंकर पलटने से 13 भारतीयों सहित 16 चालकों का दल लापता हो गया है. अब तक इनको लेकर कोई स्पष्ट जानकारी सामने नहीं आ पाई है. बचाव अभियान शुरू कर दिया गया है. जहाज की पहचान प्रेस्टीज फाल्कन के रूप में की गई है, जो यमन के बंदरगाह शहर अदन की ओर जा रहा था. समुद्र में तेल का टैंकर पलटने की यह कोई पहली घटना नहीं है. समुद्र में लीक होता तेल पहले ही समस्या बना हुआ है, जिसका हल नहीं निकल पा रहा है.
समुद्री सुरक्षा केंद्र के मुताबिक, प्रेस्टीज फाल्कन नाम का तेल टैंकर दुबई के हमरिया पोर्ट से रवाना हुआ था…. इस पर कोमोरोस का झंडा लगा हुआ था… यह यमन के अदन पोर्ट जा रहा था.. डुक्म के पोर्ट टाउन के पास रास मद्रकाह से करीब 46 किमी दूर दक्षिण-पूर्व में तेल टैंकर पलट गया… क्रू मेंबर्स की तलाश में दो दिनों से सर्च और रेस्क्यू अभियान चलाया जा रहा है… वहीं भारतीय क्रू सदस्यों को ढूंढने के लिए इंडियन नेवी ने अपने युद्धपोत INS तेग और निगरानी के लिए एयरक्राफ्ट P-8I भेजा है… वॉरशिप ओमानी वेसल्स के साथ अदन पोर्ट के पास सर्च ऑपरेशन में शामिल है….15 जुलाई को मामले की सूचना मिलने के तुरंत बाद भारतीय नौसेना ने युद्धपोत को ओमान के लिए भेज दिया था।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, जो टैंकर डूबा है, उसकी लोकेशन चार दिन पहले अपडेट की गई थी… यह लगभग 117 मीटर लंबा तेल टैंकर है, जिसे 2007 में बनाया गया था। ऐसे छोटे टैंकरों का इस्तेमाल छोटी यात्राओं के लिए किया जाता है। डुक्म पोर्ट ओमान के दक्षिण-पश्चिमी तट पर स्थित है, जो देश के तेल और गैस माइनिंग प्रोजेक्ट्स का प्रमुख केंद्र है। यहां मौजूद तेल रिफाइनरी डुक्म के बड़े इंडस्ट्रियल एरिया का हिस्सा है, जो ओमान का सबसे बड़ा और इकलौता इकोनॉमिक प्रोजेक्ट है।
अदन यमन की अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता हासिल करने वाली सरकार के कब्जे वाला आखिरी प्रमुख शहर है… दरअसल, यमन में साल 2014 से ईरान समर्थित हूती विद्रोहियों के साथ गृह युद्ध चल रहा है। इजराइल-हमास जंग शूरू होने के बाद से हूती आसपास के समुद्री क्षेत्र और खासकर अदन की खाड़ी के पास जहाजों पर हमला करते रहते हैं।
हूतियों के हमलों के जवाब में अमेरिका और ब्रिटेन ने मिलकर अब तक 4 बार यमन में हूतियों के ठिकानों पर एयरस्ट्राइक की है। एक रिपोर्ट के मुताबिक, लाल सागर में लगातार हो रहे हूतियों के हमलों के कारण अंतरराष्ट्रीय ट्रेड पर गंभीर असर पड़ रहा है।
भारत से यूरोप के लिए डीजल की सप्लाई पिछले 2 सालों के सबसे निचले स्तर पर पहुंच गई है। इसमें करीब 90% की गिरावट दर्ज की गई है। एशिया से यूरोपियन यूनियन (EU) और ब्रिटेन जाने वाले कार्गो के शिपिंग चार्ज बढ़ गए हैं।
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