आमतौर पर जब आप किसी भी बच्चे से यह पूछेंगे कि तुम्हें कौन सी बंदूक सबसे ज्यादा अच्छी लगती है तो बच्चा भी आपको बता देगा कि मैं AK-47 का फैन हूं पंजाबी गाने हो या फिर रोल करने के लिए बंदूकन का कलेक्शन करना ऐसा कोई भी एक्शन लवर नहीं होगा जो AK-47 का शौकीन ना हो आखिर क्या खास है AK-47 में जाना चाहते हैं तो हमारा यह आर्टिकल जरुर पढ़िएगा, क्योंकि आज के आर्टिकल में हम आपको AK-47 राइफल से जुड़ी हर छोटी से बड़ी डिटेल और उसके कुछ इंटरेस्टिंग फैक्ट्स ज़रूर बताएंगे।
आइए जानते है AK-47 का Price:
AK-47 Full Form
राइफल में मशहूर सबसे पॉपुलर राइफल AK-47 को AVTOMAT KALASHNIKOV 47 के नाम से भी जाना जाता है। यही इसका फुल फॉर्म है। रूस में बनने वाली यह राइफल एक एसॉल्ट राइफल है जिसका नाम सुनते ही दुश्मन के हौसले पास हो जाते हैं इस राइफल को अब तक की सबसे बेहतरीन हथियारों की खोज में से एक माना जाता है।
भारत में साल 2020 में इन राइफेलो का आगमन हुआ था AK-47 203 राइफल की डील साइन करके भारत ने इस राइफल का अब तक का सबसे एडवांस्ड वर्जन अपने खाते में डाला था। यह राइफल इंडियन स्मॉल आर सिस्टम की जगह लेने के लिए तैयार है।
AK-47 का इतिहास
अगर इसके नाम को ठीक प्रकार से समझे तो AK-47 में ही आपको इसका इतिहास नजर आएगा। AK-47 के नाम को तोड़ने पर जो A यानी AVTOMAT आता है इसका मतलब ऑटोमेटिक है, K फॉर KALSHNIKOV मैं दरअसल इसके निर्माता का नाम जुड़ा है यानी इस राइफल को मिखाइल कलाश्निकोव ने बनाया था। और रही बात नंबर 47 की तो यह इसके निर्माण के साल को दर्शाता है यानी कि साल 1947। सन 1947 में ही इस राइफल की शुरुआत हुई थी और सन 1948 में सोवियत आर्मी जिसे आज के समय में रूसी सी कहते हैं में इसका पहला मॉडल शामिल किया गया था। और मिखाईल कैलाशनी को भी सोवियत आर्मी से ही थे।
क्या है AK-47 की कीमत
मौजूदा समय में दुनिया के कई देश इस राइफल को बनाने लगे हैं इसलिए अलग-अलग देश में इसकी कीमत भी अलग-अलग है और क्योंकि हथियारों का लेनदेन डिफेंस सेक्टर के अंदर आता है इसीलिए रक्षा क्षेत्र से जुड़ी जानकारी होने की वजह से AK-47 राइफल की सटीक कीमत का अनुमान लगाना काफी कठिन है हालांकि कई रिपोर्ट के मुताबिक AK-47 की कीमत 150000 भारतीय रुपए के आसपास है जबकि इसके सबसे हैवी हथियार की कीमत ₹250000 के करीब है।
AK-47 की ये खासियतें
1- इसकी परफॉर्मेंस पर मौसम का असर नहीं पड़ता, साफ़-सफ़ाई और मेंटेनेंस आसान है।
2- ऑटोफायर मोड में ये राइफ़ल क़रीब 100 राउंड फ़ायरिंग कर सकती है।
3- ये राइफ़ल ऑटोलोडिंग मोड पर 1 मिनट में 40 गोलियां फायर की जा सकती हैं।
4- इस राइफ़ल की रिलोडिंग में महज 2.5 सेकंड का वक्त लगता है।
5- AK-47 एक ऑटोमैटिक राइफ़ल है, जो 1 मिनट में 600 राउंड फ़ायर कर सकती है।
6- इसका वजन 4.3 किलोग्राम है. इसकी 1 मैगज़ीन में क़रीब 30 राउंड गोलियां होती हैं।
7- इस राइफ़ल की नली से गोली छूटने की रफ़्तार 710 मीटर प्रति सेकंड है।
AK-47 राइफ़ल से जुड़ी ख़ास बातें
1- आज भी कई अफ़्रीकी देशों में माता-पिता इस राइफ़ल से प्रभावित होकर ही अपने बच्चों के नाम ‘क्लाश’ रखते हैं।
2- रूस में ‘रेड आर्मी क्लाशिनिकोव वोडका’ नाम का एक वोडका ब्रांड भी है, जो गन के शेप वाली बोतल में बेची जाती है।
3- अमेरिकी सेना ने जब सद्दाम हुसैन को पकड़ा था। इस दौरान उसके हथियारों के कलेक्शन में गोल्ड प्लेटेड AK-47 राइफ़ल बरामद की थी।
4- दुनियाभर में अब तक 10 करोड़ से अधिक AK-47 राइफ़ल बिक चुकी हैं। 30 देशों में क्लाशिनिकोव और उससे लाइसेस प्राप्त कंपनियों ने इस राइफ़ल के 200 से अधिक वैरिएंट तैयार किए हैं।
5- अफ़्रीकी देश मोजांबिक के झंडे में AK-47 राइफ़ल की तस्वीर नज़र आती है। इसके अलावा ज़िम्बाब्वे, बुर्किनो फासो और ईस्ट तिमोर की सेना के कोट आर्म्स में भी इसकी तस्वीर नज़र आती है।
6- सन 1956 में हंगरी में हुए प्रदर्शन के दौरान जोजेफ़ तिबोर फ़ेजस ने सार्वजनिक तौर पर पहली बार AK-47 राइफ़ल हवा में लहराई थी।
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